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कौशाम्बी: जिलाधिकारी ने स्वयं बैनामा विलेखों का स्थलीय निरीक्षण कर किया सत्यापन

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News By – नितिन/हिमांशु उपाध्याय

जिलाधिकारी श्री मधुसूदन हुल्गी द्वारा आज जनपद के विभिन्न उपनिबन्धक कार्यालयों में पंजीकृत होने वाले विक्रय विलेखों में सबसे बडे मूल्य के विक्रय विलेख में से 02 विक्रय विलेखों का सत्यापन सहायक महानिरीक्षक निबन्धन के साथ किया गया। जिसमें से विलेख संख्या-212/2025 पंजीकृत दिनांक 17.01.2025 विक्रीत गाटा संख्या-213/3 रक्बा 0.189हे0 में से अपने हिस्से 0.0233हे0 यानी 233 वर्गमीटर व्यवसायिक भवन/आवासीय भवन स्थित सम्पत्ति मौजा-टेंवा (अर्द्धनगरीय), परगना अथरवन तहसील मंझनपुर जनपद कौशाम्बी में वर्णित सम्पत्ति का स्थलीय निरीक्षण आज दिनांक 19.03.2025 को किया गया।

व्यवसायिक/आवासीय भवन का मूल्यांकन सही न पाये जाने के कारण सर्किल दर सूची के अनुसार विभागीय अधिकारियों से गणना कराने पर विलेख में स्टाम्प शुल्क एवं निबन्धन शुल्क के रूप में 1720-00 रू० का प्रथम दृष्टया राजस्व कमी पायी गयी। स्टाम्प अधिनियम के सुसंगत प्राविधानों के अधीन स्टाम्पवाद दर्ज कर कमी स्टाम्प शुल्क वसूली हेतु कार्यवाही प्रारम्भ करने के लिए सहायक आयुक्त स्टाम्प को निर्देशित किया गया साथ ही विलेख संख्या-306/2025 पंजीकृत दिनांक 22.01.2025 विकीत गाटा संख्या-726ब रक्चा 1.4630हे0 में से हिस्से 0.6405हे0 कृषि भूमि स्थित सम्पत्ति मौजा-टेंवा (अर्द्धनगरीय), परगना अथरवन तहसील मंझनपुर जनपद कौशाम्बी का भी स्थलीय निरीक्षण किया गया, जिसमें ट्यूबबेल भवन की नाप न होने के कारण वास्तविक कमी स्टाम्प की गणना नहीं की जा सकी है। जिस पर जिलाधिकारी ने नाराजगी व्यक्त करते हुए शुद्ध पैमाइश कराकर कमी स्टाम्प शुल्क वसूली के लिए कार्यवाही कराने के निर्देश सहायक आयुक्त को दियें।

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