शुक्ला की सख्ती से हिला अपराध का साम्राज्य: कोतमा में पहली बार इतनी बड़ी कार्रवाई, पुलिस की कार्यशैली बनी मिसाल
शुक्ला की सख्ती से हिला अपराध का साम्राज्य: कोतमा में पहली बार इतनी बड़ी कार्रवाई, पुलिस की कार्यशैली बनी मिसाल
कोतमा/अनूपपुर।
कोतमा थाना क्षेत्र में अपराध और अवैध कारोबारियों के खिलाफ जो आक्रामक अभियान वर्तमान में चल रहा है, उसकी मिसाल पिछले कई वर्षों में नहीं देखी गई। इस बदलाव के केंद्र में हैं — तेजतर्रार और निर्भीक थाना प्रभारी रत्नांबर शुक्ला, जिनकी पदस्थापना के बाद से पूरे कोतमा क्षेत्र में अपराधियों में दहशत और आमजन में विश्वास की लहर दौड़ गई है।
पुलिस अधीक्षक मोती-उर-रहमान के कुशल मार्गदर्शन और स्पष्ट निर्देशों के तहत रत्नांबर शुक्ला न केवल रोजाना अवैध कारोबारियों पर कार्रवाई कर रहे हैं, बल्कि जनता को यह एहसास भी करा रहे हैं कि “अब कोतमा में कानून का राज चलेगा, न कि माफिया का।”
कार में चल रहे जुए के फड़ पर कोतमा पुलिस की सबसे बड़ी रेड, लाखों की नकदी और कार बरामद
1 अगस्त की रात कोतमा पुलिस को गुप्त सूचना मिली कि शासकीय कॉलेज मैदान के पास झाड़ियों के पीछे एक कार में जुए का अड्डा संचालित हो रहा है। सूचना को गंभीरता से लेते हुए थाना प्रभारी शुक्ला ने तत्काल एक टीम गठित की और पूरी योजना के साथ घेराबंदी कर रेड डाली।
मौके से एक सफेद स्विफ्ट कार से ₹3,53,780 नगदी, ताश की गड्डी और लगभग ₹4.50 लाख की कार जब्त की गई। कुल ज़ब्त संपत्ति ₹8,03,780 रही। चार आरोपियों को मौके से गिरफ्तार कर धारा 13 जुआ एक्ट के तहत अपराध पंजीबद्ध किया गया है।
यह कार्रवाई जिले में अब तक की सबसे बड़ी चलित जुए की रेड मानी जा रही है।
शुक्ला की अगुवाई में बना कार्रवाई का नया मापदंड
थाना प्रभारी रत्नांबर शुक्ला की विशेष रणनीति, सूचना तंत्र की चुस्ती और टीम के साहसिक योगदान ने यह सफलता दिलाई। उनकी टीम में शामिल पुलिसकर्मियों ने जिस सजगता और तत्परता से कार्रवाई को अंजाम दिया, उससे यह सिद्ध हो गया कि अब अवैध गतिविधियों को कोतमा में कोई स्थान नहीं मिलेगा।की गई कार्रवाई में सक्रिय भूमिका निभाने वाले इनकी टीम भावना और कार्यकुशलता को आमजन व वरिष्ठ पुलिस अधिकारियों से सराहना मिल रही है।
पुलिस अधीक्षक मोती-उर-रहमान: “हर थाना बने अपराध के खिलाफ लड़ाई का मजबूत किला”
पुलिस अधीक्षक मोती-उर-रहमान के नेतृत्व में अनूपपुर जिले में अपराध मुक्त समाज की जो कल्पना की गई थी, वह अब धरातल पर साकार होती दिख रही है। वे हर थाना क्षेत्र से ऐसी ही त्वरित, प्रभावी और ईमानदार कार्रवाई की अपेक्षा रखते हैं — जिसमें कोतमा थाना सबसे आगे नजर आ रहा है।
मोती-उर-रहमान का कहना है, “कानून का डर और जनता की सुरक्षा — यही हमारी प्राथमिकता है। किसी भी अवैध गतिविधि को बर्दाश्त नहीं किया जाएगा। जो भी इसमें लिप्त मिलेगा, उसे कानून का सामना करना ही होगा।”
अवैध कारोबारियों के समर्थकों की बौखलाहट, सोशल मीडिया बनी अफवाहों का अड्डा
जैसे-जैसे कार्रवाई तेज़ हुई है, वैसे-वैसे अवैध कारोबारियों के समर्थकों ने अफवाहें फैलाने का सिलसिला तेज कर दिया है। सोशल मीडिया से लेकर बाजार तक, थाना प्रभारी की छवि पर सवाल उठाकर ध्यान भटकाने की कोशिश की जा रही है।
लेकिन कोतमा की जनता सब कुछ देख रही है — उन्हें अफवाह नहीं, सच्चाई नजर आ रही है। और सच्चाई यह है कि अब कोतमा में कोई भी माफिया कानून से ऊपर नहीं।
जनता का विश्वास और पुलिस की निष्ठा — कोतमा बन रहा बदलाव की मिसाल
थाना प्रभारी रत्नांबर शुक्ला के नेतृत्व में जिस तरह से एक के बाद एक अवैध गतिविधियों पर प्रहार किया जा रहा है, उससे न केवल अपराधियों में भय का वातावरण है, बल्कि कोतमा की आम जनता को पहली बार यह महसूस हो रहा है कि पुलिस उनके लिए खड़ी है, सजग है और निष्पक्ष है।
कोतमा पुलिस की यह कार्रवाई न केवल एक बड़ी जीत है, बल्कि कानून व्यवस्था को सशक्त और पारदर्शी बनाने की दिशा में एक ऐतिहासिक पहल भी है।
“अब तक कमर टूटी है, व्यापार टूटना बाकी है” — यह सिर्फ चेतावनी नहीं, कानून का ऐलान है।