कौशाम्बी: 25 हजार के इनामी से मुठभेड़, थानाध्यक्ष सिद्धार्थ सिंह की जवाबी फायरिंग से घायल होकर गिरा हत्यारा रूपेश
News By- हिमांशु उपाध्याय/ नितिन केसरवानी
*पिपरी इलाके में हुई सनसनीखेज मुठभेड़, हत्या के आरोपी के पैर में लगी गोली, तमंचा और कारतूस बरामद*
कौशाम्बी: जिले के पिपरी थाना क्षेत्र में सोमवार की सुबह पुलिस और अपराध के बीच आमना-सामना हो गया। एक तरफ 25 हजार रुपये के इनामी हत्या आरोपी की बौखलाहट में अंधाधुंध फायरिंग, दूसरी तरफ पिपरी थानाध्यक्ष सिद्धार्थ सिंह का अचूक निशाना—जिसने उस खूंखार अपराधी को भागने से पहले ही ज़मीन पर गिरा दिया।
यह मुठभेड़ पिपरी थाना क्षेत्र के बलहेपुर गांव के पास उस समय हुई जब थानाध्यक्ष सिद्धार्थ सिंह अपनी टीम के साथ सुबह के वक्त गश्त पर थे। इसी दौरान उन्हें जानकारी मिली कि राजू हत्याकांड का मुख्य आरोपी रूपेश भागने की फिराक में है। इनपुट मिलते ही पुलिस टीम अलर्ट हुई और बलहेपुर से कशेंदा की ओर जाने वाले लिंक रोड पर निगरानी तेज कर दी।
अभी पुलिस निगरानी कर ही रही थी कि एक संदिग्ध युवक दूर से आता दिखाई दिया। जैसे ही उसने पुलिस वाहन देखा, वह खेतों की ओर भागने लगा। शक पुख्ता होते ही पुलिस ने घेराबंदी शुरू की। खुद को घिरता देख आरोपी ने पुलिस टीम पर फायरिंग झोंक दी। पर इस बार सामने कोई आम पुलिस टीम नहीं, बल्कि नेतृत्व कर रहे थे वो अफसर जिनकी कार्यशैली और फुर्ती के चर्चे जनपदभर में होते हैं।
पुलिस की ओर से आत्मरक्षार्थ की गई जवाबी कार्रवाई में एक गोली सीधा आरोपी के दाहिने पैर में लगी और वह ज़मीन पर गिर पड़ा। पुलिस ने सावधानी से उसे कब्जे में लिया। पकड़े गए आरोपी ने अपना नाम रूपेश पुत्र समरजीत निवासी गांजा, थाना एयरपोर्ट, प्रयागराज बताया।
पूछताछ में उसने इकबालिया बयान देते हुए स्वीकार किया कि दो दिन पहले पिपरी क्षेत्र के मखदूमपुर में राजू नामक युवक की हत्या उसी ने की थी। उसने बताया कि राजू से पुरानी रंजिश थी, इसी के चलते मौका देखकर शराब ठेके के पास उसे सीने में गोली मार दी और भाग गया।
गिरफ्तारी के बाद रूपेश के कब्जे से पुलिस ने एक 315 बोर का तमंचा, दो जिंदा कारतूस, दो खोखा कारतूस और ₹720 नगद बरामद किए हैं। घायल बदमाश को इलाज के लिए मंझनपुर जिला अस्पताल में भर्ती कराया गया है, जहां उसकी हालत स्थिर बताई जा रही है।
इस पूरे घटनाक्रम के बारे में पुलिस अधीक्षक राजेश कुमार ने पहले ही रूपेश की गिरफ्तारी पर ₹25,000 का इनाम घोषित किया था। रूपेश की गिरफ्तारी को जनपद पुलिस की बड़ी सफलता माना जा रहा है।
स्थानीय लोग पुलिस की मुस्तैदी और थानाध्यक्ष की बहादुरी की खुलकर तारीफ कर रहे हैं। थानाध्यक्ष सिद्धार्थ सिंह के नेतृत्व में जिस सधे और साहसी तरीके से इस पूरे ऑपरेशन को अंजाम दिया गया, वह जनपद में कानून व्यवस्था की दृढ़ता का परिचायक है।