News By- हिमांशु उपाध्याय / नितिन केसरवानी
कौशाम्बी: स्वशासी राज्य चिकित्सा महाविद्यालय, कौशांबी के एनाटॉमी विभाग में आज एमबीबीएस 2025 बैच हेतु कैडेवरी ओथ सेरेमनी (शव-शपथ समारोह) का आयोजन गरिमामय माहौल में सम्पन्न हुआ। कार्यक्रम की अध्यक्षता महाविद्यालय के प्रधानाचार्य प्रो॰(डा0) हरिओम कुमार सिंह के द्वारा की गयी। समारोह में एनाटॉमी विभागाध्यक्ष एवं सह-आचार्य डा0 राकेश कुमार शुक्ला द्वारा नवप्रवेशी एमबीबीएस छात्रों को मानव शव के प्रति सम्मान, नैतिकता और चिकित्सकीय मर्यादाओं को समर्पित कैडेवरी ओथ दिलाई गई।
मुख्य वक्ताओं के विचार
प्रधानाचार्य प्रो॰(डा0) हरिओम कुमार सिंह, ने बताया कि महाविद्यालय में एन0एम0सी0 मानकों के अनुरूप कैडेवर उपलब्ध हैं, जो गुणवत्तापूर्ण मेडिकल शिक्षा का आधार हैं। उन्होंने इसके अकादमिक और व्यवहारिक महत्व पर विस्तार से प्रकाश डाला।
डा0 सुनील कुमार शुक्ला, मुख्य चिकित्सा अधीक्षक द्वारा एमबीबीएस पाठ्यक्रम का एक मील का पत्थर बताते हुए कहा कि कैडेवर के माध्यम से प्राप्त ज्ञान चिकित्सा शिक्षा की नींव को मजबूत करता है।

श्री रवीन्द्र प्रताप सिंह, सीनि0 टेजरी अफीसर ने चिकित्सा विज्ञान में कैडेवरी अध्ययन की ऐतिहासिक और आधुनिक उपयोगिता पर अपने विचार रखे।
डा0 राकेश कुमार शुक्ला, विभागाध्यक्ष एनाटॉमी द्वारा बताया गया कि मानव शव की उपयोगिता को छात्र-छात्राओं के पठन-पाठन, कौशल प्रशिक्षण तथा शोध गतिविधियों में अत्यंत महत्वपूर्ण है।
श्री देशराज निरंकारी, बाबा निरंकारी मिशन द्वारा बताया गया कि समाज को देहदान के लिए प्रेरित करते हुए इसे मानवता और चिकित्सा शिक्षा की अमूल्य सेवा का अवसर बताया। प्रो॰ (डा0) निष्ठा सिंह, एनाटॉमी विभाग, मोतीलाल नेहरू मेडिकल कॉलेज, प्रयागराज ने एम0बी0बी0एस0 छात्रों को स्तन ग्रंथियों की संरचना पर विशेष व्याख्यान दिया।
डा0 मयंक केसरवानी, डायरेक्टर, आदित्य हॉस्पिटल कौशांबी ने बताया कि पूर्व में उनके पिता की इच्छा के अनुरूप उनके देहदान को इस चिकित्सा महाविद्यालय में ज्ञानार्थ समर्पित किया गया है। उन्होंने इस कार्य के सामाजिक, शैक्षिक तथा स्वास्थ्य क्षेत्र में महत्व पर विस्तृत जानकारी दी।
कार्यक्रम में एम0बी0बी0एस0 2025 बैच के छात्रों ने चिकित्सा से संबंधित रंगोली, कविता और भाषण प्रस्तुत कर अपनी प्रतिभा का प्रदर्शन किया, जिसे उपस्थित सभी वरिष्ठ चिकित्सकों ने सराहना की।
समारोह में महाविद्यालय के विभिन्न विभागों के चिकित्सक, संकाय सदस्य और कर्मचारी उपस्थित रहे।